WEDNESDAY,30,OCTOBER,2024/LOCAL DESK/BREAKING NEWS
पटना से ब्यूरो रिपोर्ट
अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (एएमयू) पूर्व छात्र संघ बिहार चैप्टर, पटना, बिहार हुए शामिल
PATNA DESK/RASHTRA VIHAR LIVE 24 NEWS: अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (एएमयू) पूर्व छात्र संघ बिहार चैप्टर ने गुरुवार (17 अक्टूबर, 2024) को पटना में हज भवन के पास मौलाना मजहरुल हक ऑडिटोरियम में पारंपरिक उत्साह और भव्यता के साथ सर सैयद दिवस मनाया।
कार्यक्रम में मुख्य अतिथि पटना उच्च न्यायालय के न्यायमूर्ति राजीव रंजन प्रसाद, जबकि चाणक्य राष्ट्रीय विधि विश्वविद्यालय, पटना के कुलपति प्रोफेसर फैजान मुस्तफा मुख्य वक्ता और कार्यक्रम के विशिष्ट अतिथि रहे।
मौक़े पर कार्यक्रम के अतिथि ने कहा कि कि मुसलमानों का भविष्य उनके रूढ़िवादी दृष्टिकोण की कठोरता से खतरे में है, सर अहमद ने आधुनिक स्कूलों और पत्रिकाओं की स्थापना करके और इस्लामी उद्यमियों को संगठित करके पश्चिमी शैली की वैज्ञानिक शिक्षा को बढ़ावा देना शुरू किया।
वहीं,प्रो. फैजान मुस्तफा ने सर सैयद के विचारों पर विस्तार से प्रकाश डाला और आज के परिप्रेक्ष्य के मुद्दों पर चर्चा की। उन्होंने समुदाय और विशेष रूप से राष्ट्र के विकास के लिए आवश्यक मार्ग का मार्गदर्शन किया। शिक्षा के महत्व के बारे में बात की और शिक्षा की मदद से दलित वर्ग के उत्थान के लिए सर सैयद की भूमिका के बारे में जानकारी दी। शैक्षणिक जीवन के दौरान खेलों की आवश्यकता पर बल दिया।
मौक़े पर अपने अध्यक्षीय भाषण में नदीम सेराज ने कहा कि सर सैयद अहमद खान का सपना भारत में प्रगतिशील, शिक्षित और सहिष्णु समाज का निर्माण करना था।
कार्यक्रम के दौरान महासचिव मोशीर आलम ने वार्षिक रिपोर्ट पेश की और बताया कि एएमयू एलुमनाई एसोसिएशन बिहार ने भी अलीगढ़ आंदोलन के उद्देश्यों को पूरा करने के लिए काम किया है। सर सैयद का उद्देश्य केवल अलीगढ़ में एक कॉलेज की स्थापना तक ही सीमित नहीं था, बल्कि पूरे देश में मुस्लिम प्रबंधित शैक्षणिक संस्थानों का नेटवर्क फैलाना था। स्वागत भाषण एसोसिएशन के वरिष्ठ सदस्य अब्दुल मन्नान खान ने दिया।
कार्यक्रम की शुरुआत कहकशां नाज द्वारा पवित्र कुरान की तिलावत से हुई। कार्यक्रम के दौरान एसोसिएशन द्वारा आयोजित अंतर विद्यालय निबंध लेखन प्रतियोगिता के विजेताओं को भी सम्मानित किया गया।
इस अवसर पर संपादक इफ्फत अंजुम और सह संपादक डॉ. अमजद अली द्वारा स्मारिका “पेयाम ए अलीग 24” का विमोचन किया गया। कार्यक्रम के दौरान आयोजन समिति के सदस्यों को भी सम्मानित किया गया। डॉ. शीरीन मसरूर ने धन्यवाद ज्ञापन प्रस्तुत किया। पारंपरिक रूप से कार्यक्रम का समापन विश्वविद्यालय तराना और राष्ट्रगान के साथ हुआ।